यूपी की राजधानी लखनऊ से ऐसा मामला सामने आया है, जिसे जानकर आप दंग रह जाएंगे। यहां की सड़कों को लेकर बड़े-बड़े दावे किए जाते हैं, लेकिन सच्चाई कुछ और ही है। हैरानी इस बात की है कि जहां खुद मुख्यमंत्री योगी अदित्यनाथ बैठते हैं, वहीं की एक सड़क भी बैठ गई है। जो बारिश में सारे दावों की पोल खोल रही है। राजधानी लखनऊ में बलरामपुर हॉस्पिटल के सामने की रोड ने विकास की पोल खोल दी है। एक तरफ सीएम योगी अधिकारियों को सख्त निर्देश दे रहे हैं कि वो मानक के अनुसार ही निर्माण कार्य कराएं, तो दूसरी ओर अधिकारी और ठेकेदार कसम खाकर बैठे हैं कि सीएम के निर्देश का सख्त उल्लघंन करना है। जिसकी गवाही ये रोड दे रही है।
आपको बता दें कि राजधानी लखनऊ में रुक-रुक कर बारिश हो रही है। यहां मंगलवार सुबह बलरामपुर हॉस्पिटल के सामने बारिश के कारण सड़क धंस गई, जिसके बाद एक कार गड्ढे में गिर गई। हल्की बारिश में ही नगर निगम के व्यवस्थाओं की पोल खुलने लगी है। महज आधे घंटे की बारिश की वजह से जलभराव होने लगा है। अच्छे और मज़बूत सड़क का दावा खोखला नज़र आने लगा।
स्थानीय लोगों का कहना है की हल्की बारिश में ये पता ही नहीं चलता की लखनऊ में सड़कों पर गड्ढे हैं या गड्ढों में सड़क है। लोग गड्ढे में गिरी कार की फोटो शेयर कर के नगर निगम के दावे की पोल खोल रहे हैं। शहर के ज्यादातर वार्ड में सफाई के नाम केवल खानापूर्ति हो रहा है, अभी तो हलकी बारिश में शहर का हाल बुरा हो गया है।
शहर की 20 लाख से ज्यादा आबादी वाला क्षेत्र हर साल जलभराव की समस्या से जूझता है। मौलवीगंज वार्ड के पार्षद मुकेश सिंह मोंटी और इस्माइलगंज द्वितीय के पूर्व पार्षद समीर पाल सोने ने बताया कि इस बार सफाई के नाम पर खानापूर्ति किया गया था। इसकी वजह से नाले पहले ही भर गए थे। अधिकारी और ठेकेदार की मिलीभगत से पांच करोड़ रुपए का घपला किया गया है।
सफाई के मामले में नालों की सफाई भी अभी अधूरा पड़ा हुआ है, जिन नालों की सफाई हुई भी है, ठीक से नहीं किया गया है समय रहते ध्यान नहीं दिया गया तो लोगों को बारिश में जलभराव और गंदगियों का सामना करना पड़ेगा।
लखनऊ से संवाददाता जैद की रिपोर्ट।