काशी विश्वनाथ मंदिर में इस बार महाकुंभ के दौरान श्रद्धालुओं की भारी भीड़ देखने को मिल रही है। सोमवार को बाबा विश्वनाथ के दर्शन के लिए करीब 11 लाख भक्त पहुंचे, जिससे अब तक के सारे रिकॉर्ड टूट गए हैं।
देर रात तक खुले मंदिर के दरवाजे
महाकुंभ की भीड़ को देखते हुए पहली बार काशी विश्वनाथ मंदिर रात 1 बजे तक खुला रहा। इससे पहले मंदिर केवल महाशिवरात्रि और सावन के महीने में देर रात तक खुलता था। भक्तों की संख्या इतनी अधिक थी कि दर्शन के लिए केवल एक सेकंड का समय मिल रहा था।
8 घंटे की लंबी लाइन के बाद मिले दर्शन
सोमवार को श्रद्धालुओं को बाबा के दर्शन के लिए करीब 8 घंटे तक लंबी कतार में इंतजार करना पड़ा। भक्तों की भीड़ देर रात तक बनी रही, जिसके चलते मंदिर प्रशासन ने आधी रात तक दर्शन की व्यवस्था जारी रखी।
22 घंटे तक चला दर्शन का सिलसिला
मंगलवार को भी दर्शन-पूजन का सिलसिला लगातार 22 घंटे तक जारी रहा। रात 2:15 बजे मंदिर फिर से खोला गया, और 2:45 बजे मंगला आरती के बाद दर्शन का क्रम शुरू हो गया।
दशाश्वमेध घाट से गोदौलिया रूट बंद
श्रद्धालुओं की भारी भीड़ को नियंत्रित करने के लिए सोमवार दोपहर से दशाश्वमेध घाट से गोदौलिया तक का मार्ग पूरी तरह बंद कर दिया गया। ऐसा पहली बार हुआ जब इस रूट को पूरी तरह सील करना पड़ा।
भक्तों के लिए बढ़ाई गई सुविधाएं
मंडलायुक्त कौशल राज शर्मा ने बताया कि भक्तों की सुविधा के लिए मंदिर के दर्शन का समय बढ़ाया गया। प्रशासन ने भीड़ को संभालने के लिए विशेष प्रबंध किए हैं, ताकि सभी श्रद्धालु बाबा विश्वनाथ के दर्शन कर सकें। महाकुंभ के इस खास मौके पर बाबा विश्वनाथ के दरबार में उमड़ी श्रद्धा और आस्था ने काशी को पूरी तरह से भक्तिमय बना दिया।