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GNIDA News: ग्रेटर नोएडा में प्लास्टिक पर प्रतिबंध, कपड़े और जूट के थैले हुए अनिवार्य

ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण (GNIDA) ने शहर को प्लास्टिक मुक्त बनाने की दिशा में सख्त कदम उठाए हैं। अपर मुख्य कार्यपालक अधिकारी श्रीलक्ष्मी वीएस की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह निर्णय लिया गया कि सभी सेक्टरों की दुकानों और बाजारों में कपड़े या जूट के थैले अनिवार्य होंगे। इसके साथ ही सिंगल यूज प्लास्टिक जैसे डिस्पोजेबल बर्तन, स्ट्रा, कप और चम्मच पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया गया है।

बायोडिग्रेडेबल विकल्पों को मिलेगा बढ़ावा

GNIDA अब ऐसे उत्पादों को प्रोत्साहित करेगा जो पर्यावरण के अनुकूल हों। बायोडिग्रेडेबल थालियों, चम्मचों और अन्य उपयोगी वस्तुओं को बढ़ावा दिया जाएगा ताकि बाजारों और आयोजनों में प्लास्टिक का विकल्प उपलब्ध हो सके। यह कदम स्वच्छ भारत मिशन और सस्टेनेबल सिटी मॉडल की दिशा में एक बड़ी पहल माना जा रहा है।

आवारा कुत्तों की नसबंदी पर भी फोकस

बैठक में शहर की स्वच्छता और सुरक्षा से जुड़ा एक और बड़ा निर्णय लिया गया। GNIDA ने स्ट्रीट डॉग्स की समयबद्ध नसबंदी कराने का निर्देश दिया है। इससे न केवल जनसुरक्षा सुनिश्चित होगी बल्कि शहरी क्षेत्रों में स्वच्छता व्यवस्था भी बेहतर होगी।

बैठक में प्रमुख पर्यावरणविदों और अधिकारियों की उपस्थिति

GNIDA बोर्डरूम में हुई इस महत्वपूर्ण बैठक में कई प्रमुख व्यक्तित्वों की भागीदारी रही जिसमें इंटरनल एनर्जी फाउंडेशन की एमडी जयंती आर अयंगर, एडिशनल सेक्रेटरी सिमरन भाटिया, एडवोकेट मनीष गुप्ता, एंटी प्लास्टिक वॉरियर शैल माथुर, पर्यावरण कार्यकर्ता अनुराधा डोगरा वशिष्ठ, रितु सिंह और विधि शुक्ला। इन सभी ने प्लास्टिक मुक्त शहर के निर्माण में सहयोग देने का संकल्प दोहराया।

प्लास्टिक पर रोक, शहर को मिलेगा नया रूप

GNIDA द्वारा उठाया गया यह कदम पर्यावरण संरक्षण, जनस्वास्थ्य और शहरी स्वच्छता की दिशा में एक साहसी पहल है। यदि यह मॉडल सफल होता है, तो आने वाले समय में ग्रेटर नोएडा पूरे देश के लिए प्लास्टिक मुक्त शहर का रोल मॉडल बन सकता है।

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