10 बिंदुओं में जाने गणतंत्र दिवस में शामिल होने वाले चीफ गेस्ट प्रोटोकॉल

ABHINAV TIWARI

भारत 2024 में अपना 75वां रिपब्लिक डे मनाने जा रहा है। इस बार रिपब्लिक डे पर फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रों को चीफ गेस्ट का न्यौता भेजा गया है। 

इससे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने रिपब्लिक डे में शामिल होने की अपनी असमर्थता जताई थी। 

अगर मैक्रोन शामिल होते हैं तो वे रिपब्लिक डे परेड की शोभा बढ़ाने वाले वे 6वें फ्रांसीसी राष्ट्रपति होंगे।

बता दें कि भारत में रिपब्लिक डे पर विदेशी चीफ गेस्ट की पुरानी परंपरा रही है। दो बार पाकिस्तान के नेता भी परेड के मुख्य अतिथि बन चुके हैं। 

जनवरी 1965 में पाक के एग्रीकल्चर मिनिस्टर राणा अब्दुल हामिद हमारे मेहमान थे और 3 महीने बाद अप्रैल में पाकिस्तान के साथ जंग छिड़ गई थी।

गणतंत्र दिवस में शामिल होने वाले चीफ गेस्ट का प्रोटोकॉल

विदेश से आए मेहमान के स्वागत के लिए स्वयं भारत के प्रधानमंत्री एयरपोर्ट पर जाते हैं।

चीफ गेस्ट को इसके बाद राष्ट्रपति भवन विजिट कराने ले जाया जाता है। 

जहाँ राष्ट्रपति भवन में सेना उन्हें गॉर्ड ऑफ ऑनर और 21 तोपों की सलामी देती है।

इस दौरान मेहमान के साथ प्रेसिडेंट गार्ड मौजूद रहते हैं, जो उनके चारों ओर सुरक्षा घेरा बनाए रखते हैं।

राष्ट्रपति भवन में चीफ गेस्ट के स्वागत के लिए प्रधानमंत्री के साथ-साथ अन्य महत्वपूर्ण केंद्रीय मंत्री और दिल्ली के गवर्नर मौजूद रहते हैं।

भारत के चीफ गेस्ट राष्ट्रपति भवन से राजघाट पहुंचते हैं। जहां वे महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि देते हैं। इसके बाद प्रधानमंत्री के साथ लंच में शामिल होते हैं।

26 जनवरी के परेड वाले दिन दस हजार से भी ज्यादा सुरक्षा कर्मी चीफ गेस्ट की सुरक्षा में तैनात रहते हैं। 

मल्टी लेयर्स सुरक्षा के बीच रेड कार्पेट से होते हुए चीफ गेस्ट मुख्य मंच पर पहुंचते हैं।

ये मंच बुलेट प्रूफ कांच से बना होता है। इस दौरान उनके साथ राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और रक्षामंत्री मौजूद रहते हैं। 

परेड में तीनों सेनाएं चीफ गेस्ट को सलामी देती हैं।

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