नोएडा : आज यानी बृहस्तिवार को समाजवादी पार्टी के अलमबदार व उत्तर -प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री रहे अखिलेश यादव ने कन्नौज सीट से अपना नामांकन परचा भरा तो पार्टी की गतिविधियों पर नजर रखने वालों के साथ उनके धुर -विरोधी सकते में आ गए।
समाजवादी पार्टी ने दूसरे चरण तक इतने सारे उम्मीदवारों को इधर से उधर कर डाला कि लोग यह भी सवाल करने लगे हैं कि क्या अखिलेश वाकई कन्फ्यूज्ड हो गए हैं। पार्टी ने चार सीटों पर दो बार प्रत्याशी बदल डाले और जिन लोक सभा सीटों पर इतनी बार प्रत्याशी बदले गए उनमें गौतम बुद्ध नगर , मिश्रिख , मेरठ व बदायूं शामिल हैं। प्रदेश की नौ सीट ऐसी भी हैं जहाँ के पार्टी प्रत्याशियों को एक बार इधर से उधर कर दिया गया। इन सीटों में मुरादाबाद ,रामपुर , बिजनौर, बागपत , सुल्तानपुर , वाराणसी के साथ -साथ कन्नौज जैसी लोक -सभा सीटें हैं।
स्थानीय नेताओं का मानना है कि इसके पीछे एक बड़ा कारण यह भी है कि पार्टी के अंदरखाने के कुछ लोग की यह राय थी कि कन्नौज की आधी जनता तो तेज प्रताप के नाम से भी वाकिफ नहीं थी। और वहीं कहा जाता है कि आनन -फानन में लिया गया यह बड़ा निर्णय बाजी पलट सकती है। इसी बात को ध्यान में रखकर पार्टी आलाकमान को कनौज की कमान खुद संभालनी पडी।